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भारत की महारत्न कंपनी

भारत की अर्थव्यवस्था की रीढ़ कही जाने वाली महारत्न कंपनियों की पूरी जानकारी दी गई है: 1. कोल इंडिया लिमिटेड (CIL) - स्थापना: 1975 - मुख्यालय: कोलकाता - व्यवसाय: कोयला खनन - उत्पाद: कोयला - देखरेख: कोयला मंत्रालय - ब्रांच: 369 - ऑफिस: कोलकाता, नई दिल्ली 2. भारत पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड (BPCL) - स्थापना: 1976 - मुख्यालय: मुंबई - व्यवसाय: तेल और गैस - उत्पाद: पेट्रोल, डीजल, गैस - देखरेख: पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय - ब्रांच: 13,000 - ऑफिस: मुंबई, नई दिल्ली 3. भारत हेवी इलेक्ट्रिकल्स लिमिटेड (BHEL) - स्थापना: 1964 - मुख्यालय: नई दिल्ली - व्यवसाय: भारी इलेक्ट्रिकल उपकरण - उत्पाद: बिजली संयंत्र, टरबाइन - देखरेख: भारी उद्योग मंत्रालय - ब्रांच: 15 - ऑफिस: नई दिल्ली, हैदराबाद 4. गेल (इंडिया) लिमिटेड (GAIL) - स्थापना: 1984 - मुख्यालय: नई दिल्ली - व्यवसाय: प्राकृतिक गैस - उत्पाद: प्राकृतिक गैस - देखरेख: पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय - ब्रांच: 10 - ऑफिस: नई दिल्ली, नोएडा 5. हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड (HPCL) - स्थापना: 1974 - मुख्यालय: मुंबई - व्यवसाय: तेल और गैस ...

सीमा शुल्क दिवस 26 जनवरी

  अंतर्राष्ट्रीय सीमा शुल्क दिवस पर : * पृष्ठ 1: परिचय* अंतर्राष्ट्रीय सीमा शुल्क दिवस प्रत्येक वर्ष 26 जनवरी को मनाया जाता है। यह दिवस दुनिया भर में सीमा शुल्क अधिकारियों की कड़ी मेहनत की सराहना करने का दिन है। विश्व सीमा शुल्क संगठन (डब्ल्यू.सी.ओ.) ने अंतर्राष्ट्रीय व्यापार को प्रभावी बनाने में सीमा शुल्क एजेंसियों की महत्वपूर्ण भूमिका को पहचानने के लिए 1983 में इस परंपरा की शुरुआत की। * पृष्ठ 2-3: इतिहास* अंतर्राष्ट्रीय सीमा शुल्क दिवस का इतिहास 1952 में सीमा शुल्क सहयोग परिषद (सीसीसी) के गठन से जुड़ा है। इस परिषद का उद्देश्य दुनिया भर में सीमा शुल्क कार्य को बेहतर बनाना था। 26 जनवरी, 1953 को सीसीसी का पहला सत्र हुआ, और यहीं से अंतर्राष्ट्रीय सीमा शुल्क दिवस की शुरुआत हुई। 26 जनवरी  * पृष्ठ 4-5: महत्व* अंतर्राष्ट्रीय सीमा शुल्क दिवस का महत्व इस प्रकार है: - यह दिवस दुनिया भर में सीमा शुल्क अधिकारियों की कड़ी मेहनत की सराहना करने का दिन है। - यह दिवस अंतर्राष्ट्रीय व्यापार को प्रभावी बनाने में सीमा शुल्क एजेंसियों की महत्वपूर्ण भूमिका को पहचानने के लिए मनाया जाता है। - यह दि...

26 जनवरी: गणतंत्र दिवस:Republic Day

❤️🇮🇳  गणतंत्र दिवस  🇮🇳❤️ *पेज १: परिचय * गणतंत्र दिवस भारत का एक महत्वपूर्ण राष्ट्रीय पर्व है, जो प्रत्येक वर्ष २६ जनवरी को मनाया जाता है। यह दिन भारत के संविधान को अपनाने की याद में मनाया जाता है, जो २६ जनवरी १९५० को लागू हुआ था। आजाद भारत * पेज २: इतिहास * भारत ने १५ अगस्त १९४७ को ब्रिटिश शासन से स्वतंत्रता प्राप्त की थी, लेकिन देश को एक संविधान की आवश्यकता थी जो उसके नागरिकों के अधिकारों और कर्तव्यों को परिभाषित करे। इस उद्देश्य के लिए, एक संविधान सभा का गठन किया गया था, जिसने देश के संविधान का मसौदा तैयार किया था [१]। हमारी संस्कृति  * पेज ३: संविधान का महत्व* भारत का संविधान दुनिया के सबसे बड़े लिखित संविधानों में से एक है, जिसमें ३९५ अनुच्छेद, २२ भाग और १२ अनुसूचियां हैं। यह संविधान देश के नागरिकों के अधिकारों और कर्तव्यों को परिभाषित करता है, और देश के शासन के लिए एक ढांचा प्रदान करता है [२]। प्रस्तावना  * पेज ४: गणतंत्र दिवस का आयोजन * गणतंत्र दिवस का आयोजन पूरे देश में किया जाता है, जिसमें राष्ट्रीय और राज्य स्तर पर समारोह आयोजित किए जाते हैं। नई दिल्ली ...

REPUBLIC DAY:26 january

 1: गणतंत्र दिवस का महत्व* Happy republic day  26 जनवरी भारत के इतिहास में एक महत्वपूर्ण दिन है, जब देश ने अपना संविधान अपनाया था। यह दिन गणतंत्र दिवस के रूप में मनाया जाता है, जो भारत की स्वतंत्रता और लोकतंत्र की जीत का प्रतीक है। भारत ने 15 अगस्त 1947 को ब्रिटिश शासन से स्वतंत्रता प्राप्त की थी, लेकिन देश को एक संविधान की आवश्यकता थी जो उसके नागरिकों के अधिकारों और कर्तव्यों को परिभाषित करे। इस उद्देश्य के लिए, एक संविधान सभा का गठन किया गया था, जिसने देश के संविधान का मसौदा तैयार किया था। Whatspp click here  2: संविधान का मसौदा और इसका महत्व * Proud fir India and Indians  संविधान सभा ने 26 नवंबर 1949 को संविधान का मसौदा तैयार किया था, जिसे 26 जनवरी 1950 को लागू किया गया था। यह दिन गणतंत्र दिवस के रूप में मनाया जाता है, जब देश ने अपना संविधान अपनाया था। भारत का संविधान दुनिया के सबसे बड़े लिखित संविधानों में से एक है, जिसमें 395 अनुच्छेद, 22 भाग और 12 अनुसूचियां हैं। यह संविधान देश के नागरिकों के अधिकारों और कर्तव्यों को परिभाषित करता है, और देश के शासन के लिए एक ढ...

खान अब्दुल गफ्फार खान

  खान अब्दुल गफ्फार,  जिन्हें बच्चा खान के नाम से भी जाना जाता है, एक भारतीय स्वतंत्रता सेनानी थे जिन्होंने भारतीय उपमहाद्वीप में अंग्रेजों के खिलाफ संघर्ष किया था। उनका जन्म 6 फरवरी 1890 को उत्मानजाई, हाश्टनगर में हुआ था ¹। File फोटो  बचपन और शिक्षा बच्चा खान का जन्म एक समृद्ध सुन्नी मुस्लिम परिवार में हुआ था। उनके पिता अब्दुल बहराम खान एक जमींदार थे। बच्चा खान ने अपनी शिक्षा एडवर्ड्स मिशन स्कूल से प्राप्त की, जो उस समय क्षेत्र में एकमात्र पूरी तरह से कार्यरत स्कूल था। स्कूल में, उन्होंने अपने शिक्षक, रेवरेंड विग्राम से प्रेरणा प्राप्त की, जिन्होंने उन्हें शिक्षा के महत्व के बारे में सिखाया ¹। राजनीतिक जीवन बच्चा खान ने अपने राजनीतिक जीवन की शुरुआत 1910 में की, जब उन्होंने अपने गृह नगर उत्मानजाई में एक मदरसा खोला। 1915 में, उन्होंने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में भाग लेना शुरू किया और जल्द ही एक प्रमुख नेता बन गए। उन्होंने खुदाई खिदमतगार आंदोलन की स्थापना की, जो एक अहिंसक आंदोलन था जिसका उद्देश्य भारत को स्वतंत्रता दिलाना था ¹। खान साहब और चाचा नेहरू  गांधी जी के सा...

मकर संक्रांति

 मकर संक्रांति का इतिहास बहुत पुराना है, और इसकी शुरुआत का सटीक समय ज्ञात नहीं है। लेकिन यह त्योहार प्राचीन काल से ही मनाया जा रहा है, और इसका उल्लेख कई प्राचीन हिंदू ग्रंथों में मिलता है। Happy मकर संक्रांति ❤️  मकर संक्रांति का उल्लेख सबसे पहले महाभारत में मिलता है, जो कि एक प्राचीन हिंदू महाकाव्य है। महाभारत में मकर संक्रांति को "मकर संक्रमण" के नाम से जाना जाता है, और इसका उल्लेख भगवान कृष्ण के समय में किया गया है। इसके अलावा, मकर संक्रांति का उल्लेख पुराणों में भी मिलता है, जो कि प्राचीन हिंदू धर्मग्रंथ हैं। पुराणों में मकर संक्रांति को एक महत्वपूर्ण त्योहार के रूप में वर्णित किया गया है, और इसका उल्लेख भगवान सूर्य के साथ जोड़कर किया गया है। इस प्रकार, मकर संक्रांति का इतिहास बहुत पुराना है, और इसकी शुरुआत का सटीक समय ज्ञात नहीं है। लेकिन यह त्योहार प्राचीन काल से ही मनाया जा रहा है, और इसका महत्व हिंदू धर्म में बहुत अधिक है। भारत के अन्य राज्यों में 14 जनवरी या मकर संक्रांति को किस नाम से मनाया जाता है। मकर संक्रांति उत्तर भारत में एक महत्वपूर्ण त्योहार है, जिसे विभिन्न...

मकर संक्रांति ❤️

मकर संक्रांति: एक महत्वपूर्ण हिंदू त्योहार मकर संक्रांति एक महत्वपूर्ण हिंदू त्योहार है, जो हर साल 14 जनवरी को मनाया जाता है। यह त्योहार सूर्य के मकर राशि में प्रवेश करने का प्रतीक है, जो कि हिंदू पंचांग के अनुसार एक महत्वपूर्ण घटना है। इतिहास और महत्व मकर संक्रांति का उल्लेख प्राचीन हिंदू ग्रंथों में मिलता है, जैसे कि महाभारत और पुराण। यह त्योहार प्राचीन काल से ही मनाया जा रहा है, और इसका महत्व हिंदू धर्म में बहुत अधिक है। इस त्योहार के दौरान, लोग सूर्य की पूजा करते हैं और अपने पूर्वजों को याद करते हैं। यह त्योहार नई शुरुआत और नवीनीकरण का प्रतीक है, और लोग इसे अपने जीवन में सकारात्मक परिवर्तन लाने के अवसर के रूप में मनाते हैं। तिरंगा वाली पतंग  भारत के विभिन्न राज्यों में मकर संक्रांति के नाम भारत के विभिन्न राज्यों में मकर संक्रांति को विभिन्न नामों से जाना जाता है: - उत्तर प्रदेश, बिहार, और मध्य प्रदेश में इसे मकर संक्रांति कहा जाता है। - पश्चिम बंगाल में इसे पौष संक्रांति कहा जाता है। - तमिलनाडु में इसे पोंगल कहा जाता है। - आंध्र प्रदेश में इसे संक्रांति कहा जाता है। - कर्नाटक ...